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"इतना न मारो कि मर ही जाये"



:- लात घूसा बेल्ट सब चला डाला,

:- एक के बाद एक होता रहा प्रहार,

:- गिरा कर लुटा कर पीटते रहे लोग,

:- भीड़ ने चलाया अपना क़ानून ।


हमारे संविधान में हर अपराध की सजा मुकर्रर है लेकिन अक्सर ऐसा देखा जाता है कि लोग संविधान को दरकिनार कर कानून अपने हांथ में ले लेते हैं जो कि किसी भी तरह से जायज नही कहा जा सकता।

सोशल मीडिया में वायरल यह वीडियों कानपुर महानगर का बताया जा रहा है जहां एक छोटी उम्र के यूवक को कुछ लोग परेड कराते हुये जमकर पीट रहे हैं जो भी आ रहा है वह हांथ साफ कर रहा है। भीड़ तंत्र के इस कानून को ही जंगल का कानून कहा जाता है जिसे मानवीय दृष्टि कोण से किसी भी तरह से सही नही कहा जा सकता है ।

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