Breaking News

header ads

राकेश सचान के पास कानपुर नगर, कानपुर देहात,फतेहपुर,जहानाबाद,घाटमपुर में बेसुमार प्लाट

फतेहपुर:- राकेश सचान के पास कानपुर नगर, कानपुर देहात,फतेहपुर,जहानाबाद,घाटमपुर में बेसुमार प्लाट योगी सरकार में कैबिनेट मंत्री राकेश सचान के पास कानपुर महानगर में ही दर्जनों प्लाट ? मंत्रीजी के नाम मात्र 72 प्लाट आवंटित हैं फतेहपुर जनपद में। मंत्रीजी चाहे तो अपने प्लांटो पर एक क़स्बा बसा दे। योगी जी के लाडले मंत्री यूपी के एमएसएमई मंत्री राकेश सचान 72 प्लॉट अपने नाम अलॉट करवाने के मामले को लेकर सुर्खियों में आ गए हैं। मंत्री राकेश सचान पर गंभीर आरोप लगे हैं। आरोप है कि यहां अभिनव सेवा संस्थान राकेश सचान के नाम पर उद्योग विभाग के मिनी औद्योगिक आस्थान चकहता में 32 और मिनी औद्योगिक आस्थान सुधवापुर में 40 प्लॉट अलॉट किए गए। लघु उद्योग भारती के अध्यक्ष सतेंद्र सिंह ने निदेशक कानपुर उद्योग को पत्र लिखकर बताया कि फतेहपुर में 8 इंडस्ट्रियल इलाके हैं। इनमें से एक चकहाता मिनी औद्योगिक क्षेत्र में कुल 32 भूखंड और औद्योगिक क्षेत्र सुधवापुर में 40 भूखंड राकेश सचान के नाम से आवंटित मिले हैं। आगे पड़ताल कराई गई तो सभी भूखंड कैबिनेट मंत्री राकेश सचान के नाम पर आवंटित मिले।जिस समय इन भूखंडों का आवंटन हुआ, उस समय राकेश सचान सपा से सांसद थे। और जिन्हें उस समय सपा मुखिया मुलायम सिंह यादव का बेहद करीबी नेता माना जाता था आरोप है कि सांसद रहते हुए राकेश सचान ने आवंटन का निर्धारित 10 प्रतिशत शुल्क भी नहीं जमा किया। विवादों में घिरते ही मंत्री ने सामने आकर झल्लाहट में जवाब भी दिया है। उन्होंने कहा कि जमीन लेकर मैं कहीं भाग नहीं गया। विभाग ने जबरन जमीन आवंटित की थीं। न जमीन कहीं गई है और न ही मैं। सब ज़बरदस्ती दे दिए हम लोगों को. तो हम तो वापस ही कर रहे हैं." अब मंत्री जी को कौन बताए की पोल खुलने के बाद तो आप सब वापस ही कर दोगे अब जरा आप ये सोचिए मंत्री जी के नाम फतेहपुर में अगर 72 प्लॉट है तो कानपुर और अन्य जिलों में कितने होंगे शायद आप गिनती ही ना कर पाए। इसी डर से मंत्री जी ने फतेहपुर के 72 प्लॉट वापस करने की घोषणा कर दी की कहीं मामला अगर बढ़ गया तो जगह जगह फैली उनकी अनाब सनाब सम्पत्ती सरकार ज़ब्त ना कर ले वहीं इस आरोप के सार्वजनिक होने के बाद मंत्री राकेश सचान ने मीडिया में बयान दिया है कि, वहां कोई प्लॉट लेना ही नहीं चाहता है, और ना ही कोई उद्योग करना चाहता है

Post a Comment

0 Comments